February 5, 2025

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एमिटी विश्वविद्यालय में ‘‘ मिश्रित शिक्षण अधिगम – शिक्षा का भविष्य’’ पर राष्ट्रीय ई सम्मेलन का आयोजन।

शिक्षकों और भविष्य के शिक्षकों को मिश्रित शिक्षण प्रणाली के महत्व की जानकारी प्रदान करने के लिए एमिटी विश्वविद्यालय के फैकल्टी आफ एजुकेशन द्वारा ‘‘ मिश्रित शिक्षण अधिगम – शिक्षा का भविष्य’’ विषय पर एक दिवसीय राष्ट्रीय ई सम्मेलन का आयोजन किया गया। इस राष्ट्रीय सम्मेलन का शुभारंभ नेशनल इंस्टीटयूट आफ ओपन स्कूलिंग की चेयरपरसन प्रो सरोज शर्मा, पटियाला के नेताजी सुभाष नेशनल इंस्टीटयूट आफ स्पोर्टस के एक्जीक्यूटिव निदेशक कर्नल आर एस विश्नोई, एमिटी विश्वविद्यालय की फैकल्टी आफ एजुकेशन की डीन डा कल्पना शर्मा द्वारा किया गया। इस सम्मेलन में 200 से अधिक शिक्षक, प्रशिक्षकों और छात्रों ने हिस्सा लिया।


नेशनल इंस्टीटयूट आफ ओपन स्कूलिंग की चेयरपरसन प्रो. सरोज शर्मा ने छात्रों और शिक्षकों को संबोधित करते हुए कहा कि मिश्रित शिक्षा छात्रों को स्वंय के शिक्षण विकास का मार्ग चुनने की आजादी प्रदान करता है और छात्रों के विकास में अत्यंत लाभकारी सिद्ध होगा। प्रो शर्मा ने कहा कि छात्रों के शिक्षण छोड़ने की एक बहुत बड़ी चुनौती भारतीय शिक्षण पद्धती के सामने है जो एक चिंताजनक स्थिती है ऐसे में मिश्रित शिक्षण प्रणाली की भूमिका अधिक महत्वपूर्ण हो जाती है। उन्होनें कहा कि विजुअल माध्यम से 90 प्रतिशत जानकारीयां बेहतर तरीके से छात्रों को प्रदान की जा सकती है। राष्ट्रीय शिक्षा निति 2020 के तहत शिक्षा के क्षेत्र को परिवर्तन लाकर सबके लिए हर स्तर पर प्रभावी बनाना है। प्रो शर्मा ने कहा कि मिश्रित शिक्षण का कोई विशिष्ट पैटर्न नही है इसलिए शिक्षकों को स्वंय का मिश्रित माध्यम विकसित करना होगा। मिश्रित शिक्षण के कार्य हेतु सूचना भंडार मुख्य आवश्यकता है। सामग्री विकास, परिवर्तन और मूल्यांकन ये तीनों मिश्रित शिक्षा के मुख्य भाग है। कई बार अच्छे छात्र बेतहरीन संस्थानो में प्रवेश नही प्राप्त कर सकते है ऐसे में मिश्रित शिक्षण के अंर्तगत बेहतर उपलब्धता, उच्च गुणवत्ता सहित बिना सीमा की बाध्यता के बगैर प्राप्त किया जा सकता है। मिश्रित शिक्षण और गुणवत्तापूर्ण संरचना के साथ ग्रामीण, शहरी और पहाड़ी क्षेत्रों में शिक्षण प्रदान हो सकता है। शिक्षण में स्मार्ट उपकरणों का उपयोग हमारे नया नही रह गया है। डा शर्मा ने कहा कि एमिटी द्वारा सदैव वर्तमान शिक्षण प्रणाली पर सम्मेलनों का आयोजन किया जाता है जिससे हम सभी को अपने विचार रखने का मंच मिलता है। यह सम्मेलन मिश्रिण शिक्षण की दिशा में सार्थक कदम है।
पटियाला के नेताजी सुभाष नेशनल इंस्टीटयूट आफ स्पोर्टस के एक्जीक्यूटिव निदेशक कर्नल आर एस विश्नोई ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि महामारी के अनिश्चित दौर में आनलाइन शिक्षण का संचालन किया गया जिससें छात्रों की शिक्षण प्रक्रिया प्रभावित नही हुई। शिक्षण के अंर्तगत छात्रों का मूल्यांकन आवश्यक है। हमें लर्निंग आउटकम पर विचार करना चाहिए। कर्नल विश्नोई ने कहा कि तकनीकी अच्छी वस्तु है किंतु हमें अन्य उपलब्ध परिपेक्ष्यों पर भी विचार करना चाहिए। अगर कभी तकनीकी कार्य ना करे तो शिक्षण के अन्य तरीके उपलब्ध हो। उन्होनें कहा कि सम्मेलन के जरीए मिश्रित शिक्षण अधिगम के संर्दभ में विस्तृत जानकारी प्राप्त होगी।
एमिटी विश्वविद्यालय की फैकल्टी आफ एजुकेशन की डीन डा कल्पना शर्मा ने अतिथियों और छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि एमिटी का उददेश्य छात्रों का सर्वागीण विकास करते हुए आउटकम आधारित कार्यक्रम का संचालन करना है। महामारी के अनिश्चित दौर ने जहां विकास पर रोक लगा दी वही एमिटी ने आनलाइन शिक्षण के जरीए छात्रों के शिक्षण प्रक्रिया को सतत जारी रखा। मिश्रित शिक्षण प्रणाली में प्रौद्योगिकी समर्थित शिक्षा है जिसमें विद्यालय में पढ़ाये गये पाठ के साथ कंप्यूटर समर्थित शिक्षा का मिश्रण होता है इसमें पारंपरिक शिक्षा और तकनीकी का उपयोग होता है। इस सम्मेलन के जरीए वर्तमान परिपेक्ष्य में मिश्रित शिक्षा पर विशेषज्ञों के विचारों जानने का अवसर प्राप्त होगा।
तकनीकी सत्र के अंर्तगत ‘‘मिश्रित शिक्षा माॅडल के माध्यम से एक छात्र समग्र विकास को प्राप्त करना – समाजिक विकास, मानसिक और भावनात्मक विकास, शारीरिक विकास’’ पर ‘‘छात्रों की उत्पादकता बढ़ाने के लिए शिक्षा के नव समान्य हेतु नवीन शिक्षण रणनितियां – हाइब्रिड माॅडल में शिक्षण, आनलाइन शिक्षण और कक्षा शिक्षण’’ और ‘‘ शिक्षा के सार्वभौमिक पहुंच के लिए चुनौतीयों और बाधाओं पर काबू पाना- शिक्षण प्लेटफार्मो के माध्यम से शिक्षा में नवाचार, प्रौद्योगिकी के माध्यम से शिक्षण और शिक्षा का विस्तार’’ आदि विषयों पर सत्रों का आयोजन किया गया जिसमें विभिन्न विशेषज्ञों ने अपनी प्रस्तुती दी और विचार प्रकट किये।
इस अवसर पर एमिटी स्कूल आफ एजुकेशन नोएडा की प्रमुख डा अलका मुदगल, एमिटी स्कूल आॅफ एजुकेशन लखनउ की प्रमुख प्रो माला टंडन, एमिटी इंस्टीटयूट आफ बिहेवियरल एंड एलाइड सांइसेस के प्रमुख डा. हरिश कुमार सहित एमिटी स्कूल आफ फिजिकल एजुकेशन एंड स्पोर्टस साइंसेस के डा जोगेश्वर गोस्वामी, एमिटी स्कूल आफ एजुकेशन नोएडा की डा. महिमा गुप्ता भी उपस्थित थी।

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